+91-9414076426
Auto Desk | Feb 28, 2021 | Heavy Commercial Vehicles
सरकार प्रदूषण पर लगाम लगाने तथा पर्यावरण की रक्षा करने के लिए शीघ्र ही पुराने वाहनों पर हरित कर लगाने की तैयारी में हैं। केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय ने इसकी जानकारी दी। मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि स्ट्राॅन्ग हाइब्रिड, इलेक्ट्रिक वाहनों तथा सीएनजी, इथेनाॅल व एलपीजी जैसे वैकल्पिक ईंधनो पर चलने वाले वाहनों को इस कर के दायरे से बाहर रखा जायेगा। अन्य वाहनों से होने वाली कर वसूली का इस्तेमाल प्रदूषण कम करने में किया जायेगा। मंत्रालय ने कहा, ‘‘केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रि नितिन गडकरी ने प्रदूषण फैला रहे पुराने वाहनों पर हरित कर लगाने के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी हैं’’ मंत्रालय ने कहा कि इसे अंतिम रूप से अधिसूचित करने से पहले राज्यों के पास परामर्श के लिये भेजा जायेगा। योजना के तहत, आठ साल से अधिक पुराने परिवहन वाहनों पर पिफटनेस प्रमाणपत्र के नवीनीकरण के समय सड़क कर के 10 से 25 प्रतिशत की दर से हरित कर वसूला जा सकता है। बयान में कहा, ‘‘15 साल के बाद पंजीयन प्रमाण पत्र के नवीनीकरण के समय व्यक्तिगत वाहनों पर हरित कर वसूला जायेगा। सिटी बसों जैसे सार्वजनिक परिवहन वाहनों पर कम दर से हरित कर वसूला जायेगा। अधिक प्रदूषित शहरों में पंजीकृत वाहनों पर अधिक दर से कर लग सकता है, जो सड़क कर का पचास प्रतिशत तक हो सकता है’’ वाहनों के प्रकार तथा ईंधन के प्रकार के आधार पर अलग-अलग कर लगाया जा सकता है। बयान में कहा गया कि स्ट्राॅन्ग हाइब्रिड इलेक्ट्रिक वाहनों तथा सीएनजी, इथेनाॅल व एलपीजी जैसे वैकल्पिक ईंधनो पर चलने वाले वाहनों के साथ ही ट्रैक्टर, हार्वेस्टर और टिलर जैसे कृषि में इस्तेमाल होने वाले वाहनों को भी इस कर के दायरे से बाहर रखा जायेगा। मंत्रालय के अनुसार, इस कर से प्राप्त राजस्व को अलग खाते में रखा जायेगा। इस राशि का इस्तेमाल प्रदूषण की समस्या से निजात पाने में किया जायेगा।